चंडीगढ़। हरियाणा में लॉकडाउन के दौरान लोग अपने घरों में रहे और सडक़ों पर सन्नाटा पसरा रहा। जिसके चलते इस साल पहली छमाही के दौरान प्रदेश में होने वाले सडक़ हादसों में भारी कमी आई है। हरियाणा में पिछले साल जनवरी माह से लेकर जून माह तक रोजाना जहां 30 सडक़ हादसे रिपोर्ट हुए, वहीं 2020 में यह संख्या घटकर 22 रह गई। इसी प्रकार, जनवरी और जून के बीच सडक़ दुर्घटनाओं में मृत्युदर में 26.77 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई, जबकि सडक हादसों में घायल व्यक्यिों की संख्या पिछले वर्ष से 26.88 फीसदी कम रही।
हरियाणा के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून एवं व्यवस्था) नवदीप सिंह विर्क ने गुरुवार को इस संबंध में जानकारी देते हुए बताया कि हादसों में कमी के लिए सडक़ सुरक्षा का पालन कराने की हर संभव कोशिश की जा रही है। पुलिस द्वारा लागू किए जा रहे बेहतर ट्रैफिक सेफ्टी रूल्स, फील्ड इकाईयों द्वारा यातायात नियमों का बेहतर प्रवर्तन तथा सडक़ एवं यातायात सुरक्षा के बारे में निरंतर जागरूकता से ही सडक़ हादसों और इससे होने वाली मृत्यु दर में कमी संभव हो सकी है। हालांकि 24 मार्च से 31 मई तक कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए लागू किए गए लॉकडाउन नेे भी राज्य में सडक़ दुर्घटनाओं को कम करने में योगदान दिया। विर्क ने बताया कि इस साल जनवरी और जून के बीच सडक़ दुर्घटनाओं की संख्या 1467 की गिरावट के साथ 4024 देखी गई, जबकि 2019 में यह आंकड़ा 5491 था।
पुलिस का दावा हरियाणा में 26 फीसदी कम हुए सडक़ हादसे
सडक़ हादसों में होने वाली मृत्युदर भी अपेक्षाकृत कम रही। जनवरी से जून 2019 के दौरान सडक़ हादसे में 2532 लोगों की जान गई थी, वहीं इस साल यह आंकडा 678 की गिरावट के साथ 1854 दर्ज किया गया। सडक़ हादसों में घायल होने वाले लोगों की संख्या में भी 1247 मामलों की प्रभावशाली गिरावट देखी गई। पिछले साल जून तक घायल हुए 4638 व्यक्यिों की तुलना में 2020 के प्रथम 6 माह में 3391 लोग सडक़ हादसों में घायल हुए।
विर्क ने कहा कि हम उम्मीद कर रहे हैं कि सडक़ दुर्घटनाओं को और भी निम्न स्तर पर लाया जा सकता है। राज्य पुलिस विभिन्न हितधारक विभागों के सहयोग से इस दिशा में काम कर रही है जिसमें ब्लैक स्पॉट की पहचान कर इन्हें प्राथमिकता के आधार पर दुरुस्त करवाना, सडक़ों की स्थिति सुधारना व साइनेज आदि लगवाने जैसे सुधारात्मक उपाय शामिल हैं।