चंडीगढ़, 12 मई। हरियाणा को मार्च माह से लेकर अब तक जारी लॉकडाउन के कारण सात हजार करोड़ का वित्तीय नुकसान हो चुका है। जिसके चलते हरियाणा सरकार महज एक माह की अवधि के भीतर तीसरी बार कर्ज लेने की तैयारी कर रही है।लॉकडाउन में तीसरी बार कर्ज लेगी सरकार
मार्च के पहले सप्ताह में लॉकडाउन के कारण जहां तीन हजार करोड़ का नुकसान हुआ है वहीं अप्रैल माह के दौरान यह बढक़र सात हजार करोड़ तक पहुंच चुका है। अनुमान लगाया जा रहा है कि हरियाणा जुलाई माह के अंतिम सप्ताह तक पटरी पर लौटेगा। जिसके चलते जुलाई तक यह राजस्व हानि बढक़र बीस हजार करोड़ तक पहुंचने का अनुमान लगाया जा रहा है। लॉकडाउन के दौरान हो रहे इस नुकसान की भरपाई के लिए सरकार द्वारा पहले तीन हजार करोड़ तो दूसरी बार दो हजार करोड़ रुपए का कर्ज लिया जा चुका है। अब तीसरी बार सरकार द्वारा दो हजार करोड़ रुपए का कर्ज लेने की तैयारी की जा रही है। इस बीच केंद्र सरकार द्वारा हरियाणा को 1500 करोड़ रुपए की वित्तीय मदद भी दी जा चुकी है।
हरियाणा विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के अनुसार सरकार ने सर्वदलीय बैठक में वित्तीय संकट का मुद्दा उठाया था। जिसके चलते हमने सरकार का समर्थन किया था कि वह जरूरी कार्यों के लिए कर्ज ले सकती है। अब सरकार कर्ज की राशि का दुरपयोग कर रही है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल का कहना है कि कोरोना के कारण हरियाणा की वित्तीय स्थिति कमजोर हो रही है। सरकार के राजस्व प्राप्ति के सभी साधन बंद हैं। हरियाणा सरकार द्वारा जरूरी खर्चों के लिए कर्ज लिया गया है। इसके लिए विपक्ष को भी विश्वास में लिया गया था।